इंडिया न्यूज, चंडीगढ़:
पंजाब के 4 मंत्रियों और कई विधायकों द्वारा मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह की लीडरशिप में अविश्वास व्यक्त करते हुए उनके खिलाफ गत मंगलवार को बगावत किए जाने के बाद बुधवार को आया पीपीसीसी प्रभारी हरीश रावत का बयान कैप्टन खेमे के लिए राहत भरा रहा। रावत द्वारा यह कहे जाने कि पंजाब कांग्रेस 2022 का विधानसभा चुनाव कैप्टन अमरिंदर सिंह के नेतृत्व में लड़ेगी, से जहां उनके विरोधियों को झटका लगा है, वहीं उनके समर्थकों में इसे लेकर उत्साह है। इस बीच सियासी तल्खी के साथ ही राजनीतिक बयानबाजी का दौर भी जारी रहा। कुल मिलाकर नवजोत सिंह सिद्धू को पीपीसीसी अध्यक्ष बनाए जाने से शुरू हुआ पंजाब कांग्रेस का घमासान थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। अब देखना यह होगा कि कैप्टन की जगह किसी और को मुख्यमंत्री का चेहरा बनाए जाने की मांग करने वाले उनके विरोधियों का अगला रुख क्या होगा? बहरहाल, कैप्टन विरोधी मंत्री कैप्टन विरोधी मंत्री तृप्त राजिंदर सिंह बाजवा, सुखजिंदर सिंह रंधावा, सुखबिंदर सिंह सरकारिया, चरणजीत सिंह चन्नी और विधायक कुलबीर सिंह जीरा, बरिंदरमीत सिंह पाहड़ा, सुरजीत सिंह धीमान हरीश रावत को मिलने बुधवार सुबह देहरादून पहुंचे। उनकी रावत के साथ लंबी मुलाकात हुई। सूत्रों के मुताबिक रावत ने यह बात कही कि वह उनकी बात हाईकमान के समक्ष रखेंगे और यदि वह हाईकमान के साथ मीटिंग चाहते हैं तो उसके लिए समय ले लिया जाएगा लेकिन यह तय है कि कैप्टन को बदलने का पार्टी का कोई विचार नहीं है। बैठक के बाद रावत ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि उनसे मिलने आए मंत्रियों व विधायकों ने उन्हें कुछ बिंदुओं पर ध्यान देने के लिए कहा है। उन्हें कुछ हद तक सरकार की फंक्शनिंग पर ऐतराज है। इस पर वह संबंधित पक्षों से बातचीत करेंगे। जरूरी हुआ तो वह हाईमान से भी इस बारे में बात करेंगे। रावत ने कहा कि हर घर में छोटे-मोटे झगड़े होते रहते हैं, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि परिवार टूट जाए। मंत्रियों व विधायकों के पार्टी छोड़ने के सवाल पर रावत ने कहा कि ऐसा कुछ नहीं होगा। नाराज होने पर कोई घर नहीं छोड़ता। उन्होंने उम्मीद जताई कि मसला हल कर लिया जाएगा। पीपीसीसी चीफ नवजोत सिंह सिद्धू के सलाहकारों की बयानबाजी के संबंध में रावत ने कहा कि सिद्धू को उन्हें नियंत्रण में रखने को कहा गया है। उन्होंने कहा कि उनके सलाहकारों से पार्टी का कोई लेना-देना नहीं है और यदि उनके बयानों से कांग्रेस पार्टी व देश की भावनाओं को नुकसान होता है तो उनके खिलाफ कार्रवाई होगी। मीटिंग के बाद मंत्री चरनजीत सिंह चन्नी ने कहा कि हरीश रावत ने उनकी बातें सुनी और हाईकमान तक पहुंचाने का भरोसा दिया है। हाईकमान का फैसला हुआ उन्हें मंजूर होगा। साथ ही बोले कि वह अपने मंगलवार वाले स्टैंड पर आज भी कायम हैं।
प्रियंका ने की कैप्टन सरकार की तारीफ
कांग्रेस की महासचिव प्रियंका गांधी ने गन्ने की कीमत के मुद्दे पर ट्वीट करके कैप्टन सरकार की तारीफ की है। उन्होंने कहा कि पंजाब की कांग्रेस सरकार ने गन्ना किसानों की बात सुनी ओर गन्ने के दाम 360 रुपए प्रति क्विंटल कर दिए हैं जबकि 400 रुपए क्विटंल का वादा करके उत्तर प्रदेश में आई भाजपा सरकार ने 3 सालों में फूटी कौड़ी नहीं बढ़ाई है और भाजपा सरकार ने किसानों द्वारा आवाज उठाने पर उन्हें धमकियां तक दी जा रही हैं।