इंडिया न्यूज, लखनऊ।
Police Commissioner System may Executed in Cities : चार शहरों में पुलिस आयुक्त प्रणाली लागू होने और इसकी सफलता को देखते हुए इसके विस्तार की अटकलों का बाजार गर्म हो गया है। माना जा रहा है कि साल के अंत तक इसे लेकर कोई निर्णय लिया जा सकता है। दरअसल, सरकार की सत्ता में वापसी में कानून-व्यवस्था और अपराध नियंत्रण को प्रमुख कारण माना जा रहा है। अपराध नियंत्रण में पुलिस आयुक्त प्रणाली को नकारा नहीं जा सकता है। ऐसे में जनता के इस भरोसे को बनाए रखने के लिए कई और बड़े शहरों में भी स्टेप-बाई-स्टेप पुलिस आयुक्त प्रणाली का विस्तार किया जाएगा।
सूत्रों का कहना है कि लखनऊ, गौतमबुद्धनगर, कानपुर नगर और वाराणसी के बाद अब पश्चिमी यूपी के कम से कम तीन जिलों गाजियाबाद, मेरठ व आगरा के अलावा प्रयागराज में इसकी आवश्यकता बताई जा रही है। सबसे छोटी पुलिस कमिश्नरेट वाराणसी के मुकाबले इन सभी शहरों की जनसंख्या अधिक है और क्षेत्रफल भी बड़ा है। सूत्रों का कहना है कि यह प्रणाली अन्य शहरों में लागू करने के लिए बड़ी संख्या में अफसरों की जरूरत पड़ेगी। इनमें एडीजी से लेकर आईजी, डीआईजी व एसपी रैंक के अफसर शामिल हैं।
(Police Commissioner System may Executed in Cities)