Varanasi News: वाराणसी के महामोक्ष के नाम से जाने जानें वाले मणिकर्णिका धाम की तस्वीर अब बदलने जा रही है. इसका संज्ञान खुद पीएमओ ने लिया है. जिला प्रशासन को आदेशित करते हुए पीएम कार्यालय ने कहा शव दाह करने वाले परिजनों के लिए टोकन व्यवस्था की जाए जिससे मृतक व्यक्ति का मृत्यु प्रमाण पत्र आसानी से जारी किया जा सके.
दरअसल हाल ही में पीएमओ की टीम वाराणसी भ्रमण पर आई थी जहां पर उन्होंने शवदाह स्थान से लेकर अन्य जुड़े घाटों पर गंदगी को देखकर नाराजगी जताई थी. वहीं लकड़ी के टाल भी हटाने का आदेश दिया गया है.
अब मणिकर्णिका घाट पर टोकन सिस्टम लागू करने पर विचार चल रहा है. इससे शवदाह करने आए परिजनो को लंबी लाईन में नही लगना पड़ेगा. टोकन मिलने के बाद लोग आसानी से मृतक व्यक्ति का डेथ सर्टिफिकेट जारी किया जा सकेगा. पहले लोगों को लंबे समय तक इसके लिए इंतजार करना पड़ता था.
मणिकर्णिका घाट पर लकड़ी के टाल आसानी से देखे जा सकते हैं. हालांकि इसे जिला प्रशासन अब हटवा देगा. इसके लिए पीएमओ से आदेश जारी किया गया है. वहीं शवदाह करने के लिए न्यूनतम मूल्य पर लकड़ी मिल सके इसका भी इंतजाम किया जाएगा. जिला प्रशासन इसके लिए रेट फिक्स करेगा और लकड़ी के टालों को वहां से दूसरे ओर शिफ्ट करेगा.
घाट पर भारी मात्रा में गंदगी फैलती है इसको देखते हुए जिला प्रशासन ने फैसला लिया है कि घाट पर सफाई कर्मियों की नियुक्ति की जाएगी. ऐसे में नगर निगम 14- 15 कर्मचारियों को लगाएगा जिससे कि घाट की साफ सफाई आसानी से की जा सके. इसको लेकर रुपरेखा तय कर ली गई है.
कुछ दिन पहले आई पीएमओ की टीम को बाल मुड़वाने वाले स्थल से बिरला भवन तक अस्थिति दिखी थी. बिरला भवन को श्री काशी विश्वनाथ मंदिर निर्माण के लिए दिया गया था. हालांकि अब उसे धाम ने वापस कर दिया है. इसका फिर से रिनोवेशन कराया जाएगा जिसके बाद फिर से उसमे तमाम सुख सुविधाएं जोड़ दी जाएंगी.
ये भी पढ़ें- Pathaan Review : देश भर में “पठान” फिल्म का जमकर हो रहा विरोध प्रदर्शन, आगरा में ओमैक्स मॉल के बाहर हंगामा।