India News(इंडिया न्यूज़)उत्तरकाशी :“Yamunotri Dham” यमुनोत्री धाम की यात्रा में जानकी चट्टी अंतिम सड़क पड़ाव है। यात्री दर्शन करने को यमुनोत्री धाम पैदल जाते हैं। लेकिन प्रशासन ने जानकी चट्टी के अलावा खरशाली गावं में पार्किंग की व्यवस्था की हुई है।
पार्किंग खोल रही प्रशासन की पोल
बारिश होते ही पार्किंग कीचड़ में तब्दील
बारिश होते ही पार्किंग कीचड़ में तब्दील
उत्तराखंड में चारधाम यात्रा का आगाज हो चुका है। चारों धामों के कपाट विधि पूर्वक भक्तों के लिए खोल दिए गए हैं। इसके साथ भक्तों की भारी भीड़ धाम दर्शन करने के लिए पहुंच रही है। लेकिन एक बार फिर से शासन और प्रशासन की पोल खुलती हुई दिख रही है। बता दें, यहां की तस्वीरें कुछ और ही बयां कर रही है। यमुनोत्री धाम के कपाट खुले हुए अब तक 7 दिन हो गए है, और इन 7 दिनों में अब तक कुल 50 हजार से अधिक श्रद्धालु मां यमुना के दर्शन यमुनोत्री धाम में पहुंचकर कर चुके है। लेकिन कपाट खुलने के बाद रोजाना दोपहर बाद हो रही बारिश ने प्रशासन के दावों की पोल खुलती दिख रही है।
दरअसल, यमुनोत्री धाम की यात्रा में जानकी चट्टी अंतिम सड़क पड़ाव है। यात्री दर्शन करने को यमुनोत्री धाम पैदल जाते हैं। उससे पहले वाहनों को जानकी चट्टी में पार्क करना होता है, प्रशासन ने जानकी चट्टी के अलावा खरशाली गावं में पार्किंग की व्यवस्था की हुई है। लेकिन बारिश ने प्रशासन द्वारा बनाई गयी इस पार्किंग की पोल खोल दी है। बारिश होते ही अब पार्किंग गड्डो और कीचड़ में तब्दील हो गयी है।
अन्य राज्यों से आये श्रद्धालु कह रहे है कि पार्किंग में बेतरतीब लगाये जा रहे वाहन उन्हें पूरी रात गाड़ी निकालने की इंतजारी करवा रहे है। पार्किंग में बिजली की कोई व्यवस्था भी नहीं है। जिससे अँधेरे में ही वो अपने वाहनों को पार्किंग स्थल में ढूढ रहे है। वहीं, प्रशासन श्रद्धालुओं को सुविधा देने के साथ सुरक्षित यात्रा कर सफल बनाने के प्रयास का दावा कर रही है|