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Shamli News: ARTO की गाड़ी में GPS लगाने वाले 5 अभियुक्त गिरफ्तार, एक फरार, पुलिस की तलाश जारी

• LAST UPDATED : August 7, 2023

India News (इंडिया न्यूज़), Shamli News: शामली आरटीओ की गाड़ी में चोरी चुपके जीपीएस लगाने के मामले में पुलिस को सफलता हाथ लगी है। जिसमें पुलिस ने पांच अभियुक्त को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। बताया गया है कि पांचो पकड़े गए अभियुक्त ओवरलोडिंग गाड़ियों की एंट्री कराने के नाम पर पैसे लेते थे। जिसमें आरटीओ की चेकिंग का खतरा बना रहता था। एआरटीओ की चेकिंग से बचने के लिए गाड़ी में जीपीएस लगाया गया था। वहीं पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए पांच अभियुक्तों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है वही इस मामले में एक अभियुक्त अभी भी फरार है जिसके लिए पुलिस ने टीम गठित कर तलाश शुरू कर दी है।

क्या है पूरा मामला

दरअसल शामली एआरटीओ रोहित राजपूत द्वारा सदर कोतवाली क्षेत्र में एक शिकायत दर्ज कराई गयी थी। जिसमें 3 अगस्त की रात्रि में एआरटीओ की गाड़ी में एक अज्ञात व्यक्ति द्वारा जीपीएस लगाने का मामला प्रकाश में आया था। वही ARTO की गाड़ी में जीपीएस लगाते हुए एक व्यक्ति का सीसीटीवी वीडियो भी वायरल हुआ था। वही एआरटीओ द्वारा दी गई शिकायत पर पुलिस ने संज्ञान में लेते हुए जांच पड़ताल शुरू की थी। जिसमें आजम, सूफियान व मुसारिक तीन नाम प्रकाश में आये थे।

ARTO गाड़ियों में लगाया जीपीएस

जिसमे पुलिस ने सबसे पहले आजम को गिरफ्तार किया था वही आजम ने पूछताछ में बताया कि वह ओवरलोड़िंग गाड़ियो को निकलवाने हेतु एंट्री लेता है, लेकिन ARTO शामली की गाड़ी में मेरे द्वारा GPS नही लगाया गया है बल्कि सुफियान व उसके ड्राईवर मुसारिक द्वारा ARTO की गाड़ी में जीपीएस लगाया गया है। जिसके बाद पुलिस ने अभियुक्त सुफियान को गिरफ्तार किया। सुफियान ने पूछताछ में बताया कि मेरे कहने पर मेरे ड्राईवर मुसारिक द्वारा ARTO शामली की गाड़ी में जीपीएस लगाया था। वही यह भी ज्ञात हुआ कि ARTO कार्यालय में तैनात 3 कर्मचारियों द्वारा भी ओवरलोड़िंग गाड़ियो की एंट्री ली जाती है।

लोकेशन आऊट करने के लिये कोड़ वर्ड का प्रयोग

जिसमे ARTO कार्यालय में तैनात बाबूराम, शमीम व सुधीर तीन नाम प्रकाश में आए थे वहीं पुलिस ने इन तीनों को भी हिरासत में लेते हुए पूछताछ की थी जिसमें बताया गया कि हमने भी अपना अलग ग्रुप बना रखा है तथा ओवरलोड़िंग गाड़ियो की एंट्री कर गाड़ियो को पास कराने के लिये प्रतिमाह पैसे लिये जाते है। वही शमीम ने अपनी बुलेरो गाड़ी को ARTO कार्यालय में सरकारी कार्य में लगा रखा है। वही लोकेशन आऊट करने के लिये कुछ कोड़ वर्ड का प्रयोग किया जाता था। जो कि हर महीने बदलते रहते थे।

वही कोड़ वर्ड बताने वाली ओवरलोड़ गाड़ियो को छोड़ दिया जाता था और जो गाड़ियां कोड वर्ड नहीं बता पाती थी उनसे पैसे वसूले जाते थे। वही सूफियान व आजम अपने ग्रुप की गाड़ियो की संख्या बढ़ाने के लिये कम पैसे लेकर एंट्री करवाते थे। वही पुलिस ने घटना में प्रयुक्त गाड़ी स्विफ्ट डिजायर HR 05 AZ 1908 तथा GPS को भी बरामद कर लिया है और पकड़े गए पांचों अभियुक्तों को जेल भेज दिया है।

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