Ayodhya Deepotsav
इंडिया न्यूज, गोंडा (Uttar Pradesh) । 23 अक्टूबर को अयोध्या में दीपोत्सव मनाया जाएगा। इसकी तैयारियां जोरों पर चल रही हैं। दीपोत्सव के जरिए जहां रामनगरी की सांस्कृतिक आभा विश्व पटल पर दिखाई देगी, वहीं इससे लोगों को रोजगार भी मिल रहा है। अयोध्या से सटे गोंडा जिले में एक कुम्हार को एक लाख दिये का ऑर्डर मिला है। सभी दीए बनाकर अयोध्या भेजे जा रहे हैं। इस बार अयोध्या में 16 लाख दिए जला कर रिकॉर्ड कायम किया जाएगा और छोटी दीपावली के दिन देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी कार्यक्रम को भव्य बनाने के लिए वहां मौजूद रहेंगे।
मिट्टी के बर्तन बनाने वाले कुम्हारों का कहना है कि बीजेपी की सरकार आने के बाद हम लोगों को फायदा हो रहा है। हम लोग दीये बनाकर बेचते हैं उसके बाद कुल्लड़ व अन्य मिट्टी के सामान बनाते भेजते हैं। पहले चाइनीज सामानों की आवक होने के चलते हम लोगों काम मंदी में चलता था और रोजी-रोटी पर संकट था। लेकिनअब अपने परिवार का पालन पोषण करने के साथ त्यौहार को भी अच्छे से मनाते हैं।
23 अक्टूबर को प्रस्तावित दीपोत्सव का आरंभ इसी राम कथा पार्क से होगा। यहां साकेत महाविद्यालय से राम कथा पर आधारित एक दर्जन से अधिक झांकियां शोभा यात्रा के रूप में करीब ढाई किलोमीटर की यात्रा कर पहुंचेंगी। उसके बाद राम कथा पार्क में ही राम राज्याभिषेक के मंचन से दीपोत्सव के छठे संस्करण का लोकार्पण होगा। इस मौके पर मुख्यमंत्री सहित प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी उपस्थित रहेंगे। दीपोत्सव का मुख्य आयोजन दिन ढलने के साथ राम पैड़ी परिसर में संयोजित है। इस बार अकेले राम पैड़ी परिसर में 15 लाख से अधिक दीप जलाए जाने हैं और उसी हिसाब से तैयारियां भी अत्यंत व्यापक है। मुख्यमंत्री ने राम कथा पार्क एवं राम की पैड़ी का निरीक्षण करने के बाद साकेत महाविद्यालय परिसर की ओर रुख किया। 23 अक्टूबर को इसी महाविद्यालय परिसर में प्रधानमंत्री का हेलीकॉप्टर उतरेगा तथा यहीं से दीपोत्सव का उद्घोष मध्यान्ह शोभा यात्राओं के प्रस्थान से होगा।
अयोध्या की दीपोत्सव में भव्यता का आकार हर बार बड़ा होता जा रहा है। यही वजह है कि इस बार बीते साल के मुकाबले न केवल अधिक दीपक जलाए जाएंगे। बल्कि राष्ट्रीय अन्तर्राष्ट्रीय स्तर की सांस्कृतिक कलाओं का दर्शन भी अयोध्यावासी देख सकेंगे। दुनिया के दस देशों में किस तरह रामलीला का आयोजन होता है, यह वहीं के कलाकारों के माध्यम से अयोध्या में दिखाई देगा।
इस महाआयोजन के लिए तैयारियों में जुटे पर्यटन विभाग के प्रमुख सचिव मुकेश मेश्राम, मंडलायुक्त नवदीप रिणवा और जिलाधिकारी नितीश कुमार ने बताया कि इस बार बीते साल के मुकाबले भव्यता और अधिक होगी। यह छठवां दीपोत्सव है, जिसमें इस बार आठ देशों और दस प्रदेशों की रामलीलाओं का प्रदर्शन होगा।
इण्डोनेशिया, श्रीलंका, मलेशिया, थाईलैण्ड, रूस, फिजी, ट्रिनिडाड एण्ड टोबैगो व नेपाल के 120 कलाकार रामलीला व बैले का प्रदर्शन करेंगे। इसके अलावा उत्तर प्रदेश, दिल्ली, मध्य प्रदेश, कर्नाटक, आन्ध्र प्रदेश, तेलंगाना, गुजरात, ओड़िसा, तमिलनाडु व झारखण्ड के करीब 1800 कलाकार रामलीला के साथ ही विविधि धार्मिक व सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति देंगे।
हर वर्ष की तरह इस बार भी रामायण शीर्षक से फोटो/चित्र वीथिका भी तैयार की जा रही है जो रामकथा पार्क में प्रदर्शित होगी। इसमें रामायण तथा रामकथा परम्परा के विभिन्न आयामों पर सामग्री प्रदर्शित होगी। उन्होंने बताया कि अधिकारियों को आने वाले सभी कलाकारों के खाने ठहरने आदि की व्यवस्था सौंप दी गई है। सभी का स्वागत भी अयोध्या के सांस्कृतिक अंदाज में किया जाएगा।
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