इंडिया न्यूज, फतेहपुर (Uttar Pradesh)। नौकरी के नाम पर बेरोजगारों को ठगने और फिर धर्म परिवर्तन कराने का पर्दाफाश हुआ है। वाराणसी के एक युवक को नौकरी का झांसा देकर फतेहपुर बुलाया गया। इसके बाद उसे धर्म परिवर्तन के लिए बाध्य किया गया। विरोध करने पर बंधक भी बनाया गया। किसी तरह पीड़ित पुलिस के पास पहुंचा। पुलिस ने सात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर तीन को गिरफ्तार भी किया है। इस पूरे मामले की जानकारी वाराणसी के सिगरा थानाक्षेत्र के हबीबपुरा चंदुआ निवासी सुधांशु चौहान ने दी है।
चौहान ने एफआईआर में बताया कि उसके मोबाइल पर अरमान अली निवासी जिला गाजीपुर ने बीती 14 जून को फोन कर ट्रांसपोर्ट कंपनी में नौकरी लगवाने की बात कही। इस पर दो दिन बाद वह अरमान के बताए पते पर फतेहपुर आबकारी कार्यालय के पास पहुंचा। अरमान उसे तुराबअली का पुरवा ले गया और अगले दिन उसे एक मुस्लिम युवक के साथ लखनऊ बाईपास स्थित मार्केटिंग कंपनी के ऑफिस ले गया। उसने रजिस्ट्रेशन के नाम पर 10 हजार रु. लिए।
17 जून को उसी ऑफिस पहुंचा, जहां से मोहसिन, यासीन नाम के युवक उसे और करीब 20 हिंदू लड़कों को 30 से 40 मुस्लिम लोगों के साथ एक मदरसे में ले गए। मदरसे में बताया कि वह लोग उनके अनुसार चलेंगे तो हर महीने एक से दो लाख रुपये कमा सकते हैं। 19 जून की सुबह करीब 50 हिंदू और 100 मुस्लिम लड़कों के साथ उसे भी एक मस्जिद ले गए। मस्जिद में एक मौलवी ने मुस्लिम धर्म अपनाने और प्रचार प्रसार की बात कही। सप्ताह भर की ट्रेनिंग के बाद रुपये मिलने की बात कही। मुस्लिम धर्म अपनाने के लिए मजबूर करने लगे।
पुलिस ने दबिश देकर मोहसिन अंसारी निवासी मनिहारी थाना फतेहगढ़ जिला फर्रुखाबाद, यासीन मंसूरी निवासी बहादुरगंज थाना मऊ दरवाजा जिला फर्रुखाबाद, मकान मालिक मोहम्मद अलीम को गिरफ्तार किया है। यह सभी लोग अलीम के हाते में शहीद गार्डन तुराबअली का पुरवा में रहते हैं। सीओ सिटी डीसी मिश्रा ने बताया कि मुकदमा दर्ज कर विवेचना की जा रही है।
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