Sonbhadra
इंडिया न्यूज, सोनभद्र (Uttar Pradesh): उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले में 2 साल पहले 7 साल की नाबालिग के साथ दुष्कर्म कर हत्या कर दिया गया था। इस मामले में अपर सत्र न्यायाधीश और विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट ने निहारिका चौहान की अदालत में शुक्रवार को सुनवाई करते हुए दोषसिद्ध पाकर अभियुक्त शिवम को मृत्युदंड और 3 लाख 25 हजार रुपये का अर्थदंड की सजा सुनाई गई। कोर्ट ने दिए आदेश में जघन्यतम अपराध मानते हुए कहा है कि दोषसिद्ध अभियुक्त शिवम से प्राप्त अर्थदंड की समूची धनराशि 3 लाख 25 हजार रुपये मृतका के पिता को दी जाएगी।
बीजपुर थाना क्षेत्र के निवासी पिता ने 7 नवंबर 2020 को बीजपुर थाने में दी गई तहरीर में आरोप लगाया था। कि उसकी 7 साल की नाबालिग बेटी के साथ 7 नवम्बर 2020 को शाम 4 बजे से घर के पास से गायब हो गई थी। उसकी तलाश की गई किंतु उसका कहीं पता नहीं चला। बीजपुर थाना क्षेत्र के महुली गांव निवासी शिवम पुत्र लालमनी के साथ खेलते हुए देखा गया था।
शिवम के निशानदेही पर शव को नाले के पास से किया बरामद
आशंका है कि उसकी बेटी को शिवम ने ही गायब किया होगा। इस आधार पर तहरीर बीजपुर पुलिस ने अपहरण की एफआईआर दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दिया। जांच के दौरान पुलिस ने शिवम को हिरासत में लेकर पूछताछ किया। उसकी निशानदेही पर लड़की के शव को नाले के पास से बरामद कर लिया। शव का पोस्टमार्टम कराया गया और रिपोर्ट मिलने के बाद हत्या व पॉक्सो एक्ट की धारा बढ़ा दी गई थी। जांच में पर्याप्त सबूत मिलने पर न्यायालय में शिवम के विरुद्ध चार्जशीट दाखिल किया था।
मामले की सुनवाई करते हुए अदालत ने दोनों पक्षों के अधिवक्ताओं के तर्कों को सुनने, गवाहों के बयान और पत्रावली का अवलोकन करने पर दोषसिद्ध पाकर अभियुक्त शिवम को मृत्युदंड एवं 3 लाख 25 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड अदा न करने पर एक वर्ष की अतिरिक्त कैद भुगतनी होगी। एडीजे पाक्सो कोर्ट निहारिका चौहान की अदालत से फांसी की सजा सुनाई गई। कोर्ट में आए मृतका के माता-पिता ने कहा कि उनकी बेटी को अब न्याय मिला है। उन्होंने कोर्ट का धन्यवाद किया है।
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