India News (इंडिया न्यूज़), Uttarakhand News : उत्तराखंड में बेरोजगारी के मुद्दे को लेकर सदन के अंदर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर तकरार हुई। विपक्ष ने भर्ती में होने वाली गडबड़ियों की सीबीआई जांच न कराने पर सवाल उठाए। वहीं विपक्ष के आरोपों को खारिज करते हुए सरकार ने कहा है कि युवाओं के हितों को सुरक्षित करने के लिए देश का सबसे सख्त नकल विरोधी कानून बनाया गया है। साथ ही नकल माफियाओं के लिए आजीवन कारावास समेत 10 करोड़ के जुर्माने का सख्त प्रावधान भी किया है।
वहीं नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य का कहना है कि सरकार पहले तो भर्ती के लिए पद निकालती है। युवा फॉर्म भरते हैं। उसके बाद भर्ती निरस्त कर दी जाती है। जो बेरोजगार सवाल उठाते हैं, उन पर केस दर्ज हो रहे हैं। पूर्व नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह ने नियम 58 में बोलते हुए कहा कि सरकार मनरेगा समेत सड़क बनाने वाले मजदूरों, रेलवे-बस स्टेशन पर पकोड़े तलने वालों को भी रोजगार में गिना रही है।
उपनेता प्रतिपक्ष भुवन कापड़ी ने कहा कि कोरोना वॉरियर्स की सेवाएं समाप्त कर दी गई हैं। तकनीकी शिक्षा विभाग में पॉलिटेक्निक में प्रवक्ताओं की भर्ती में गड़बड़ी हो रही है।
संसदीय कार्यमंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने कहा कि धामी सरकार ने सख्त नकल विरोधी कानून बना कर युवाओं के हितों की सुरक्षा की है। वहीं नकल कानुन के तहत 113 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है और उनकी 18 करोड़ की संपत्ति जब्त की गई है। 13 हजार पदों पर भर्ती की प्रक्रिया चल रही है और 6546 पदों पर विभागों की प्रक्रिया शुरू होने जा रही है। जिन भर्तियों में गड़बड़ी हुई, उन्हें निरस्त किया गया है।
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