इंडिया न्यूज, नई दिल्ली (Agnipath Protest)। सेना भर्ती के लिए लाई गई ‘अग्निपथ’ योजना का विरोध तेज होता जा रहा है। इसे वापस लेने के लिए देश के कई राज्यों में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हो रहे हैं। प्रदर्शनकारी आए दिन उग्र हो रहे हैं और सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचा रहे हैं। प्रदर्शन को देखते हुए रेलवे भी सतर्क हो गई है। रविवार को वैशाली एक्सप्रेस, सप्तक्रांति एक्सप्रेस व बिहार संपर्क क्रांति एक्सप्रेस सहित 40 एक्सप्रेस ट्रेनों को निरस्त कर दिया गया है। जबकि 27 पैसेंजर ट्रेनें भी नहीं चलेंगी। वहीं कांग्रेस पार्टी आज जंतर-मंतर पर अग्निपथ के विरोध में सत्याग्रह करेगी।
60 करोड़ से अधिक यात्रियों ने अपने टिकट रद्द कर दिए हैं। पटरियों पर व्यवधान और ट्रेनों के रद्द होने से रेलवे को बड़ा आर्थिक झटका लगा है, हालांकि विभाग अभी आधिकारिक अनुमान जारी करने की स्थिति में नहीं है। अग्निपथ योजना के विरोध प्रदर्शनकारियों ने लगभग 700 करोड़ रुपये की रेलवे संपत्ति में तोड़फोड़ की है। रेलवे अधिकारियों के अनुसार, एक सामान्य कोच के निर्माण में 80 लाख रुपये की लागत आती है, जबकि एक स्लीपर कोच और एक एसी कोच की लागत क्रमश: 1.25 करोड़ रुपये और 3.5 करोड़ रुपये प्रति यूनिट है। एक रेल इंजन बनाने के लिए सरकार को 20 करोड़ रुपये से अधिक खर्च करने पड़ते हैं।
बिहार में अग्निपथ योजना के विरोध में प्रदर्शन करने वाले 718 प्रदर्शनकारी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। इन सभी पर मुकदमा दर्ज करने की तैयारी है। केंद्र सरकार द्वारा सेना भर्ती के लिए लाई गई ‘अग्निपथ’ योजना का विरोध और भी तेज होता जा रहा है। इस योजना को वापस लेने के लिए देश के कई राज्यों में बड़े पैमाने पर प्रदर्शन हो रहे हैं। प्रदर्शनकारी आए दिन उग्र होते जा रहे हैं और सरकारी संपत्ति को भारी नुकसान पहुंचा रहे हैं। हिंसक प्रदर्शन को देखते हुए रेलवे भी सतर्क हो गई है और रविवार को वैशाली एक्सप्रेस, सप्तक्रांति एक्सप्रेस व बिहार संपर्क क्रांति एक्सप्रेस सहित 40 एक्सप्रेस ट्रेनों को निरस्त कर दिया है।
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