इंडिया न्यूज, गोरखपुर।
Gorakhpur’s Pride will be Born to the Museum : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की पहल पर गोरखपुर विकास प्राधिकरण गोरखपुर की गौरवगाथा, धर्म, त्यौहार और संस्कृति को बयां करने वाला एक भव्य म्यूजियम बनवाएगा। इसकी कवायद शुरू हो गई है। पुलिस लाइन के सामने स्थित डेढ़ एकड़ भूमि पर इसका निर्माण कराया जाएगा जिस पर करीब 25 करोड़ रुपये खर्च आने का अनुमान है। जल्द ही प्रस्ताव तैयार कर डीएम के माध्यम से शासन को भेजा जाएगा। सोमवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सामने जीडीए उपाध्यक्ष ने म्यूजियम के प्रस्तावित ले-आउट का प्रस्तुतिकरण किया।
वर्तमान में गोरखपुर में अभी ऐसी कोई जगह नहीं है, जहां एक ही जगह पर गोरखपुर का इतिहास, वर्तमान, कला, संस्कृति आदि हर तरह की जानकारी मिल सके। इसे ही ध्यान में रखकर मुख्यमंत्री ने एक म्यूजियम तैयार कराने की मंशा जाहिर की थी। इसकी तैयारी तत्कालीन डीएम के. विजयेंद्र पांडियन के समय ही शुरू हुई थी, मगर प्रयास मंजिल तक नहीं पहुंच सका। अब इसकी जिम्मेदारी प्रशासन और जीडीए ने संयुक्त तौर पर उठाई है। प्रशासन, जमीन उपलब्ध कराएगा तो जीडीए, म्यूजियम का निर्माण। डीएम विजय किरन आनंद ने इसके लिए नजूल की भूमि देने का निर्णय किया है।
जीडीए उपाध्यक्ष ने बताया कि संग्रहालय के भीतर आने वाले लोगों को बेहतर माहौल देने के लिए फर्श पर गोरखपुर का मानचित्र बनाया जाएगा तो छत से यहां से जुड़े प्रमुख विभूतियों की प्रतिमाओं के माडल लटकते नजर आएंगे। ओवरहेड डोम (गुंबद) प्रोजेक्शन की भी सुविधा होगी। यहां पर्यटक पीठ के बल लेटकर इतिहास के बारे में जान सकेंगे। एनिमेशन के जरिए कहानी बताई जाएगी। गोरक्षनाथ की कहानी को शोकेस के माध्यम से प्रदर्शित किया जाएगा। संग्रहालय में एक गैलरी भी होगी जहां कलाकृतियों को प्रदर्शित किया जा सकेगा।
(Gorakhpur’s Pride will be Born to the Museum)