कानपुर अग्निकांड: कानपुर की घटना पर अब सियासत गरमाने लगी है। सरकार के गरजते बुलडोजर ने दो जिंदगियों को आग हवाले कर दिया। कानपुर की इस घटना पर अब सियासत होने लगी है। विपक्ष इस घटना के सहारे सरकार और सरकार के बुलडोजर वाली नीति पर सवाल उठा रहा है। विपक्ष के कई नेताओं ने इस घटना को गलत बताया है तो वहीं कई नेताओं ने इस घटना की कड़ी निंदा की है।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने इस घटना को लेकर सरकार रक जमकर प्रहार किया। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा कि सत्ता के अहंकार की अग्नि ने एक परिवार को भस्म कर दिया। कानपुर नगर या कानपुर देहात ही नहीं पूरा उप्र भाजपा सरकार के अन्याय का शिकार हो रहा है।
सपा के राष्ट्रीय महासचिव ने इस घटना की कड़ी निंदा की है। वहीं उन्होंने कहा कि कानपुर में अतिक्रमण हटाने पहुंचे प्रशासन के सामने ही मां-बेटी ने आग लगाकर जान दे दी और पुलिस तमाशा देखती रही। अतिक्रमण हटाने व बुलडोजर के जोश में प्रशासन आखिर अपना होश क्यों खो रहा है। क्या ‘ महिला सशक्तिकरण’ व ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ की बात केवल कागजी नीति है?। वहीं आरएलडी प्रमुख ने कहा कि खूनी बुलडोजर के तांडव ने प्रगतिशील समाज के आत्मा को झकझोर दिया!
कानपुर देहात में पुलिस-प्रशासन सोमवार को सरकारी जमीन से अवैध कब्जा हटाने गया था। इसी दौरान एक महिला चिल्लाते हुए दौड़कर झोपड़ी में चली गई और उसने अंदर से दरवाजा बंद कर लिया। इसके बाद मौके पर उपस्थित पुलिस ने दरवाजा तोड़ दिया और इसी दौरान झोपड़ी में आग गई। महिला और उसकी बेटी अंदर थीं। पुलिस फोर्स और अफसरों के सामने दोनों की जिंदा जलकर मौत हो गई। वहीं, दोनों को बचाने में पति कृष्ण गोपाल बुरी तरह झुलस गए।
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