INDIA NEWS: लखनऊ डीजीपी सम्मेलन में एक दस्तावेज पेश किया गया। जिसमे कहा गया कि मुस्लिम युवाओं को कट्टर बनाना और कट्टरता फैलाना राष्ट्रीय सुरक्षा के नजरिए से प्रमुख चुनौतियों है। इन कट्टरपंथी संगठनों का मुकावला करने के लिए उदार मुस्लिक नेताओ के साथ धर्मगुरुओ को भी भरोसे में लेना जरूरी है। सुरक्षा सम्मेलन में प्रस्तुत दस्तावेज में कहा गया कि प्रधानमंत्री मोदी ने भी इस बात से शिरकत की थीं।
दस्तावेज में कहा गया कि इन मुस्लिम संगठनों में पीएफआई सबसे शक्तिशाली कट्टरपंथी संगठन है। यह संगठन 2006 के बाद से दक्षिण भारत स्थित तीन संगठनों में मिल कर एक राष्ट्रीय स्तर के संगठन के रूप में विकसित हुआ।
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उस दस्तावेज में भारतीय पुलिस सेवा के कुछ अधिकारियों ने लिखा कि भारत में धार्मिक कट्टरवाद का उभार, मुख्य रूप से धार्मिक प्रचार, संचार के आधुनिक साधनों की आसान उपलब्धता, सीमा पार आतंकवाद और पाकिस्तान द्वारा इन कटरपंथी समूहों को प्रोत्साहित करने के कारण ही होता है। पाकिस्तान द्वारा इन कटरपंथी समूहों को हर तरफ से मदद मिलती है। जिसकी वजह से वो अपनी साजिस को अंजाम देते है।