इंडिया न्यूज, सहारनपुर।
Political Crisis of Imran Masood : इसे ही कहते हैं कि न खुदा ही मिला न बिसाले सनम। सहारनपुर जनपद के बड़े नेता इमरान मसूद के साथ कुछ एसा ही हो गया है। हाल ही में कांग्रेस छोड़कर समाजवादी पार्टी में गए थे, लेकिन उन्हें वहां भाव नहीं मिला। मतलब ये कि वो जो चाहते थे, उन्हें नहीं मिला। समझा जा रहा है कि इमरान अब दूसरी रणनीति अख्तियार कर सकते हैं। इसके लिए अपने समर्थकों से मंथन कर रहे हैं। इस बाबत सियासी गलियारों में तमाम तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं।
कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव रहे पूर्व विधायक इमरान मसूद ने 10 जनवरी को कांग्रेस छोड़कर सपा में शामिल होने की घोषणा की थी। दो दिन बाद वह सहारनपुर देहात से कांग्रेस विधायक मसूद अख्तर के साथ लखनऊ में जाकर अखिलेश यादव के समक्ष समाजवादी पार्टी में शामिल हो गए थे। बताया गया कि तब उन्हें बेहट सीट से और मसूद अख्तर को सहारनपुर देहात सीट से चुनाव लड़ाने का आश्वासन मिला था। लेकिन कुछ भी फाइनल नहीं हुआ।
चर्चा है कि टिकट न मिलने पर इमरान मसूद ने बसपा सुप्रीमो से भी मुलाकात करने का प्रयास किया, लेकिन उनकी मुलाकात नहीं हो सकी। बीते दो दिनों से इमरान मसूद अपने समर्थकों के साथ नया निर्णय लेने के लिए विचार विमर्श कर रहे हैं। चर्चा यह भी है कि आजाद समाज पार्टी के नेताओं से भी उनकी वार्ता चल रही है। फिलहाल इमरान के सामने सियासी संकट खड़ा है। अटकलें लगाई जा रही हैं कि वह जल्द कोई निर्णय लेंगे।
(Political Crisis of Imran Masood)
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