Hate Speach Case
इंडिया न्यूज, रामपुर (Uttar Pradesh) । समाजवादी पार्टी के दिग्गज नेता आज़म खान के खिलाफ भड़काऊ भाषण मामले में बड़ा झटका लगा है। उन्होंने रामपुर सेशन कोर्ट ने राहत देने से इंकार कर दिया है। रामपुर की एमपी/एमएलए अदालत के ज़रिए ने 27 अक्टूबर को नफरती बयान मामले में आजम खान को मुजरिम करार देते हुए उन्हें 3 साल की सजा सुनाई थी। इसके कुछ ही देर बाद उनको जमानत भी मिल गई थी। इसके अलावा विधानसभा स्पीकर की तरफ से उनकी सदस्यता भी रद्द कर दी गई थी और रामपुर सीट से खाली ऐलान कर दिया था।
इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में 7 नवंबर को योगी सरकार और इलेक्शन कमिशन को नोटिस जारी किया था। साथ ही सवाल किया था आखिर आज़म खान की सदस्यता इतनी जल्दी रद्द करने की क्या जरूरत थी?
27 अक्टूबर को आजम खान दोषी ठहराए गए Hate Speach Case
इसके पहले 8 नवंबर को पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान की सदस्यता को लेकर चुनाव आयोग से सुप्रीम कोर्ट ने जवाब तलब किया था। आजम खान को 27 अक्टूबर को भड़काऊ भाषण मामले में दोषी ठहराया गया था। इसके बाद रामपुर अदालत ने उन्हें तीन साल जेल की सजा सुनाई थी। इसके बाद 28 अक्टूबर को उत्तर प्रदेश विधानसभा सचिवालय ने खान को सदन की सदस्यता के लिए अयोग्य ठहराने का ऐलान किया था।
उप्र विधानसभा के प्रमुख सचिव ने कहा था कि विधानसभा सचिवालय ने रामपुर सदर सीट को रिक्त घोषित कर दिया है। इस दौरान आजम खान अभी जमानत पर हैं।
मई में जेल से छूटे थे आजम खान Hate Speach Case
मई महीने में ही आजम खान सीतापुर जेल से छूटे थे। उसके पहले आजम खान बीते 28 महीने से जेल में बंद थे। वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने आजम खान का केस लड़ा था और सुप्रीम कोर्ट से उन्हें जमानत मिली थी।
यह भी पढ़ें: केशव का अखिलेश पर तंज, सपा को परिवार से बाहर नहीं मिल रहे प्रत्याशी