इंडिया न्यूज, हरिद्वार।
अखिल विश्व गायत्री परिवार शांतिकुंज के नेतृत्व में पर्यावरण संरक्षण के तहत सन् 2010 से हर रविवार को पौधे रोपे जाते हैं। इस श्रृंखला का 600वां सप्ताह के दौरान देव संस्कृति विश्वविद्यालय के प्रज्ञेश्वर महादेव मंदिर परिसर में रूद्राक्ष के पौधे रोपे गये। यह अभियान अखिल विश्व गायत्री परिवार प्रमुख डॉ. प्रणव पण्ड्या के नेतृत्व में कोलकाता गायत्री परिवार युथ ग्रुप द्वारा चलाया जा रहा है। ग्रुप के प्रमुख रवि शर्मा ने बताया कि अब तक प. बंगाल, मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश महाराष्ट्र, झारखण्ड सहित अनेक राज्यों के तीन सौ से अधिक शहरों, कस्बों में एक करोड़ से अधिक पौधे रोपे जा चुके हैं। उन्होंने बताया भारत सरकार तथा युनेस्को ने अभियान की प्रशंसा करते हुए विशेष पुरस्कार से सम्मानित किया है।
कार्यक्रम के अध्यक्षता करते हुए डॉ. प्रणव पण्ड्या ने कहा कि प्राणी मात्र के जीवन को बचाना है, तो पौधारोपण करना है। जिस तरह से ग्लोबल वार्मिंग की समस्या पनप रही है, इसका एक ही समाधान है वृहत स्तर पर पौधारोपण। उन्होंने कहा कि जिस तरह सिंगापुर में प्रत्येक व्यक्ति पौधारोपण के अभियान से जुडकर पौध रोपते हैं, हम सभी को उनसे यह सीख लेनी चाहिए और प्रत्येक भारतीय को जहाँ-जहाँ स्थान हो, वहाँ-वहाँ पौधे लगाना चाहिए। उन्होंने कहा कि शांतिकुंज स्वर्ण जयंती वर्ष के अंतर्गत चलाये जा रहे अभियानों में से पर्यावरण संरक्षण के अंतर्गत पौधारोपण को प्रमुखता से गति देनी है। सीएम पुष्कर सिंह धामी अपरिहार्य कारणों से उपस्थित नहीं सके। उन्होंने वर्चुअल जुड़कर गायत्री परिवार के कार्यों को सराहा।
बतौर मुख्य अतिथि महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री सुधीर मुनगंटीवर ने कहा कि तपती गर्मी के बीच पेड़-पौधों की छाया में जब देसंविवि का भ्रमण किया, तो मन आह्लादित हो गया। यहां जिस तरह पौधो की क्यारियां लगाई गयी है, ऐसे सभी जगह लगाये जायें, तो बढ़ते तापमान पर अंकुश लगाया जा सकता है। कोलकाता के गायत्री परिवार युथ ग्रुप के रवि शर्मा के नेतृत्व में चलाया जा रहा पौधारोपण का अभियान अतुलनीय है। उन्होंने कहा कि जब मन को शांति चाहिए तो पौधों के बीच भी शांति ढूंढ सकते हैं। देसंविवि के प्रतिकुलपति डॉ चिन्मय पण्ड्या ने पौराणिक कथाओं के साथ वर्तमान समय मे पौधारोपण की महत्ता पर प्रकाश डाला। उन्होंने ग्लोबल वार्मिंग के मद्देनजर पौधारोपण को आवश्यक बताया।
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