आदि कैलाश के दर्शन क्यों हैं जरूरी

 1 अप्रैल से आदि कैलास और ओम पर्वत के एरियल दर्शन शुरू हो गया है। इसका एक खासा पौराणिक महत्‍व है।

 यह सुविधा धारचूला की व्यास घाटी स्थित और ओम पर्वत के हवाई दर्शन के लिए शुरू हुआ है।

आदि कैलाश पंच कैलास में से एक है। इसकी मान्‍यता है कि भोलेनाथ माता पार्वती से विवाह करने जा रहे तो रास्‍ते में यही पर अपना पड़ाव डाला था।

अभी भी कैलास मानसरोवर की यात्रा करने वालों को आदि कैलास के रास्‍ते ही जाना होता है।

बता दे, आदि कैलास तक जाने में लगभग 17 या 18 दिन लगते हैं।