India News (इंडिया न्यूज़), Nakli Mawa: दिवाली का त्योहार है ऐसे में मिठाइयां बनाने के लिए बाजार से मावा लाते है। दिवाली से भाई दूज, धनतेरस और छठ पूजा तक मिठाइयों को खाने का सिलसिला यूं ही चलता रहता है। ऐसे में घर में ढेर सारी मिठाईयां, पकवान और अलग-अलग तरह के नाश्ते बनाते जाते है। बिना मिठाई के हमारा कोई फेस्टिवल पूरा नहीं होता है। खासकर दिवाली और भाई दूज। ये दोनों ही त्योहार मिठाईयों के बिना अधुरे होते हैं।
इन फेस्टिवल में अधिकतर लोग बाजार से मिठाईयां लाते हैं। अधिकतर मिठाईयां मावा से बनाई जाती हैं लेकिन त्योहार के दौरान मिलावटी मावा बाजारों मे खूब आता है। बाजार में मिठाईयों की डिमांड बढ़ने से मिलावटी मावे की मिठाईयां बेची जाने लगती हैं। इसका सीधा असर हमारी सेहत पर पड़ता है। ऐसे में आज आपको बताते है नकली मावा किन-किन चीजों से बनता है और ये सेहत के लिए कितना नुकसानदायक है…
नकली मावा में क्या-क्या मिलाया जाता है
1. नकली मावे में घटिया वाला मिल्क पाउडर, टेलकम पाउडर, चूना, चॉक और सफेद केमिकल्स जैसी खतरनाक चीजों का इस्तेमाल किया जाता है।
2. नकली मावे के लिए दूध में यूरिया, डिटर्जेंट पाउडर और घटिया क्वालिटी का घी इस्तेमाल करते है।
3. सिंथेटिक दूध बनाने के लिए नाॅर्मल वॉशिंग पाउडर, रिफाइंड तेल, पानी और शुद्ध दूध मिलाकर मावा बनाया जाता है।
4. कुछ जगह मावा में शकरकंद, सिंघाड़े का आटा, मैदा या आलू भी मिलाते है। मावे का वजन बढ़ाने के लिए आलू और स्टार्च भी मिलाते है।
नकली मावा की पहचान कैसे करें
1. आप मावे में थोड़ी सी चीनी मिलाकर उसे गर्म करें। अगर वह पानी छोड़ने लगे तो इसका तलब मावा नकली है।
2. मावा को अंगूठे के नाखून पर रगड़ने से अगर उसमें से घी की महक नहीं आ रही है इसका मतलब मावा नकली है।
3. खोया की गोली बनाने पर अगर वह फटने लग जाए तो समझ जाएं कि मावा नकली है।
4. असली मावा मुंह में नहीं चिपकता है, जबकि नकली मावा मुंह में चिपकने लगता है।
5. असली मावा खाने से मुंह में कच्चे दूध का स्वाद आता है।
6. दो ग्राम मावा को 5 एमएल गर्म पानी में घोलकर ठंडा होने के लिए रख दें। इसके बाद इसमें टिंचर आयोडीन डालें। नकली खोया का रंग नीला होगा।