Sunday, July 7, 2024
HomeCrime NewsAligarh News : अलीगढ़ में 7 अधिकारियों पर मुकदमा दर्ज, समुदाय विशेष...

Aligarh News : अलीगढ़ में 7 अधिकारियों पर मुकदमा दर्ज, समुदाय विशेष के अधिकारी ने गायों को डलवाया गाड़ी में, घटना कैमरे में कैद

- Advertisement -

India News (इंडिया न्यूज), Aligarh News : अलीगढ़ मे गौशाला का बजट रोकना अधिकारियों को पड़ा भारी। कोर्ट के आदेश पर तत्कालीन और मौजूदा 7 अधिकारियों के खिलाफ धारा 406 के तहत एफआईआर दर्ज की गई है। अधिकारियों ने फर्जी रिपोर्ट लगाकर गौशाला का 8 महीने से अनुदान रोक रखा है। इतना ही नहीं कार्रवाई से बचने के लिए समुदाय विशेष के अधिकारी ने गौशाला जाकर गायों को अपनी मौजूदगी में पिटवाया है। गौशाला संचालक बोले, सरकार की मंशा के विपरीत काम कर रहे हैं अधिकारी। इस बात की शिकायत मुख्यमंत्री से की जाएगी। यह मामला अकराबाद थाना इलाके के धर्मपुर गांव का है।

ग्राम विकास अधिकारी समेत सात अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज

अधिवक्ता मुकेश सैनी ने जानकारी देते हुए बताया है कि धर्मपुर गौशाला की तरफ से आपके सामने पेश हुआ हूं जो हमारी परेशानी है। सरकार की तरफ से ₹30 प्रति गाय के हिसाब से हमें चारा मिलता है। उस चारे का अनुदान रोक लिया गया है। गौशाला चलाने वाले राकेश रामसन जी द्वारा पत्राचार किया गया था अधिकारियों को, लेकिन पत्राचार के बावजूद भी हमें धनराशि नहीं मिली तो हम चारों ओर से निराश हो गए। मजबूरन हमें कोर्ट में जाना पड़ा है।

इस संदर्भ में कोर्ट ने तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी कुमार आरती, पशु चिकित्सा अधिकारी धीरेंद्र कुमार, अकराबाद की डॉक्टर प्रतिभा यादव, तत्कालीन वीडियो दीपक कुमार, सीबीओ समेत सात अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ है। इन सभी अधिकारियों ने गबन, घोटाला, भ्रष्टाचार किया है वो भी गौ माताओं के साथ।

सरकार ने 2019 में दिए थे 1000 गोवंश

राकेश रामसन गौशाला संचालक का कहना है कि स्वामी रामचंद्र तीर्थ मिशन गौशाला अभियान से हम पिछले 20 वर्ष से अपने छोटे से सेल्फ बजट से गौरक्षा का काम करते रहे हैं। हमारी गौशालाओं के लिए सरकार ने 2019 में 1000 गोवंश हमको दिया था। इस दौरान अधिकारियों ने तमाम विकास कराने की बात कही थी। अधिकारियों ने कहने के बावजूद भी कुछ नहीं कराया। सब विकास कार्य हमने अपनी जेब से कराया है। हमें ₹30 प्रति गाय के हिसाब से पैसा दिया। लगभग 8 महीने बाद ही हमारी धर्मपुर गौशाला को पैसा देना बंद कर दिया।

पता नहीं क्या झूठी रिपोर्ट लगाकर वहां का अनुदान बंद कर दिया है। 3 साल से हम लगातार अधिकारियों से गुहार लगा रहे हैं। अधिकारियों ने पैसा देने से इनकार कर दिया। हमने इनसे यह भी कहा कि पुराने अधिकारी भी तो पैसा देते थे। लेकिन फिर भी अधिकारियों ने पैसा नहीं दिया तो हमने गोवंश वापस करने की कहा तो गोवंश भी वापस नहीं लिए। हम लोगों ने अपने बजट से तीनों गौशाला खड़ी की हैं।

कोर्ट ने अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करा दी है- गौशाला संचालक

अधिकारियों ने कोई जवाब नहीं दिया तो मजबूरन हमें कोर्ट जाना पड़ा है। कोर्ट ने अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करा दी है। कोर्ट कार्रवाई से बचने के लिए 5 जुलाई को कुछ अधिकारी गौशाला पहुंचते हैं। जिसको लीड कर रहे थे बीडीओ लियाकत अली जो वर्तमान में अकराबाद के बीडीओ हैं। इनके साथ में 20 लोग और पहुंचे थे। हमारे विरोध के बाद भी गायों को गाड़ियों में भरना शुरू कर दिया। मार-मार कर 12 गाय गाड़ी में डाल दी गई। इस घटना का पूरा एविडेंस हमारे पास मौजूद है।

पूरी घटना की जानकारी हमने डीआईजी को दी है। इस दौरान अधिकारी कंप्रोमाइज के लिए बोल रहे हैं। इस बात से भी हमें कोई आपत्ति नहीं है। बस हमारी गौशाला सुचारू रूप से चलती रहे। हमारा लगभग 60 से ₹65 लाख बकाया है। अपनी कमी छुपाने के लिए हमारी गायों के साथ मारपीट की है और गाड़ियों में डालकर ले गए हैं। यह अधिकारी योगी सरकार की मंशा के विपरीत काम कर रहे हैं। इस बात को लेकर हम योगी जी से भी मिलेंगे। इतना ही नहीं जब अधिकारियों ने देखा की गौशाला में गाय की संख्या पूरी है और इस मामले में हम फंस सकते हैं, तो गौशाला से गाय गाड़ी में लादकर ले गए हैं। यह घटना कैमरे में कैद हो गई है।

Read more: दिनदहाड़े थाना प्रभारी की दबंगई, एवीबीपी कार्यकर्त्ता को सरेराह जड़ा थप्पड़, वीडियो हुआ वायरल

SHARE
RELATED ARTICLES

Most Popular